1. अस्थमा कंट्रोल करता है सरसों के बीज में सेलेनियम और मैग्नीशियम अच्छी मात्रा में पाया जाता है, इन दोनों में एंटीइन्फ्लैमटॉरी होता है। सरसों अगर रोज़ खाया जाए तो अस्थमा, सर्दी और सीने में जमे बलगम से आराम मिलता है।
2. वजन कम करे सरसों के बीज में बी कॉम्प्लेक्स विटामिन जैसे फोलेट, नियासिन, थियामिन, और राइबोफ्लेविन होते हैं। सरसों का तेल मटैबलिज़म को स्वस्थ रखता है जिससे वजन घटाने में मदद मिलती है।
3. उम्र घटाए सरसों में कैरोटीन, ज़ीक्सानथिंस और विटामिन A, C और K की भरपूर मात्रा पायी जाती है। इन सब विटामिन के कारण यह एक एंटीऑक्सीडैंट है, जो बढ़ती उम्र में होने वाली निशानियां जैसे झुर्रियां और रिंकल को दूर करता है।
4. गठिया और मांसपेशियों के दर्द से छुटकारा दिलाता है सरसों में सेलेनियम और मैग्नीशियम होता है, जो एंटी इन्फ्लैमटॉरी होने के साथ साथ गर्माहट भी पहुँचता है। सरसों का तेल लगाने से शरीर की मांसपेशियों को गर्माहट मिलती है जिससे दर्द में आराम मिलता है।
5. कोलेस्ट्रॉल कम करता है सरसों में नियासिन या विटामिन बी 3 की भरपूर मात्रा पायी जाती है। नियासिन में कोलेस्ट्रॉल को कम करने के गुण पाये जाते हैं, जो आर्टऱीज़ को अथेरोक्लेरोसिस से बचाता है जिससे रक्त प्रवाह ठीक रहता है, और शरीर को उच्च रक्तचाप नहीं होता।
6. बालों की ग्रोथ के लिए सरसों के तेल से सर में मालिश करने से बालों की ग्रोथ तो अच्छी होती ही है साथ ही ब्लड सर्कुलेशन भी बढ़ता है। तेल लगाने के बाद बालों में प्लास्टिक बैग या गर्म तौलिया लपेट दें, इससे तेल अच्छे से बालों में अब्सॉर्ब हो जायेगा। इसे आधे घंटे के लिए छोड़ दें फिर अच्छे शैम्पू से धो लें।
7. त्वचा इन्फेक्शन से बचाये सरसों में सल्फर पाया जाता है, जो एक एंटीफंगल और एंटीबैक्टिरीअल तत्व है, जिससे त्वचा के इन्फेक्शन को कम किया जा सकता है।
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